उत्तर प्रदेश के सरकारी कर्मचारी अब कम से कम अगले छह महीने तक हड़ताल पर नहीं जा सकेंगे। शासन में अपर मुख्य सचिव कार्मिक डा. देवेश कुमार चतुर्वेदी एसेंसिशयल सर्विसेज मेंटनेंस एक्ट (एस्मा) की अधिसूचना जारी कर दी है।
लखनऊ, उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने सरकारी कर्मचारियों की अगले छह महीने तक प्रदेश में किसी भी प्रकार की हड़ताल पर रोक लगा दी है। सरकार ने सोमवार से एसेंशियल सर्विसेज मेंटेनेंस एक्ट लागू कर दिया है।
उत्तर प्रदेश के सरकारी कर्मचारी अब कम से कम अगले छह महीने तक हड़ताल पर नहीं जा सकेंगे। शासन में अपर मुख्य सचिव कार्मिक डा. देवेश कुमार चतुर्वेदी एसेंसिशयल सर्विसेज मेंटनेंस एक्ट (एस्मा) की अधिसूचना जारी कर दी है। उत्तर प्रदेश के राज्य कार्य-कलापों से संबंधित किसी लोक सेवा, निगमों और स्थानीय प्राधिकरणों में हड़ताल पर छह महीने तक प्रतिबंध लगाया जा रहा है। इसके बाद भी अगर कोई हड़ताल करता है तो उसके खिलाफ विधिक व्यवस्था के तहत कार्रवाई की जाएगी।
यदि किसी सरकारी कर्मचारियों की ओर से इस एक्ट का उल्लंघन किया जाता है तो सरकार की ओर से उन हड़तालियों को बिना वारंट के गिरफ्तार कर कानूनी कार्रवाई की जा सकती है। इस दौरान अति आवश्यक कर्मचारियों को सरकार के निर्देशों का पालन करना होगा। आदेशों का उल्लंघन करने पर उनके खिलाफ भी बेहद सख्त कार्रवाई की जाएगी।
प्रदेश में बीती मई में ही सरकार ने छह महीने के लिए हड़ताल पर प्रतिबंध लगाया था। योगी आदित्यनाथ सरकार ने प्रदेश में बढ़ते कोरोना संक्रमण के दौरान सरकारी विभाग के कर्मचारियों की ओर से लगातार की जा रही हड़तालों को देखते हुए एम्सा एक्ट लागू किया था। अब इसको छह महीने के लिए बढ़ा दिया है।
क्या है एस्मा
एस्मा भारतीय संसद से पारित एक अधिनियम है, जिसे 1968 में लागू किया गया था। केन्द्र सरकार अथवा कोई भी राज्य सरकार इस कानून को अधिकतम छह महीने के लिए लगा सकती है। कानून का उल्लंघन करने वाले किसी भी कर्मचारी को बिना वारंट गिरफ्तार किया जा सकता है।