ईद, बुद्ध पूर्णिमा, अक्षय तृतीया समेत मई माह में मनाए जाएंगे ये त्यौहार,

मई माह शुरू होने वाला है। इस महीने कई व्रत और त्यौहार पड़ेंगे जिन्हें लोगों द्वारा मनाया जाता है। इस दौरान वरूथिनी एकादशी ईद-उल-फितर और बुद्ध पूर्णिमा के अलावा कई तरह के त्यौहार आते हैं।

 

 मई माह शुरू होने वाला है। इस महीने कई व्रत और त्यौहार पड़ेंगे जिन्हें लोगों द्वारा मनाया जाता है। इस दौरान वरूथिनी एकादशी, ईद-उल-फितर और बुद्ध पूर्णिमा के अलावा कई तरह के त्यौहार आते हैं। आइए देखते हैं इस महीने आने वाले प्रमुख त्योहार और उनकी तिथियां।

7 मई: वरूथिनी एकादशी

यह व्रत 7 मई, शुक्रवार को किया जाएगा। हिन्दू पंचांग के अनुसार, वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी को वरुथिनी एकादशी मनाई जाएगी। यह तिथि विष्णु जी को समर्पित होती है। मान्यता के अनुसार, इस दिन जो व्यक्ति व्रत करता है और विधिवत पूजा करता है उसके सभी दुख और कष्ट दूर हो जाते हैं।

8 मई: शनि प्रदोष

इस दिन शनि प्रदोष व्रत आता है। हिन्दू पंचांग के अनुसार, हर माह की त्रयोदशी तिथि को यह व्रत किया जाता है। इस दिन भगवान शिव की पूजा की जाती है। इस व्रत को करने से व्यक्ति को कष्टों से मुक्ति मिलती है। साथ ही सभी मनोकामनाएं भी पूरी हो जाती हैं।

9 मई: मासिक शिवरात्रि

इस दिन वैशाख माह की मासिक शिवरात्रि मनाई जाएगी। हिंदू पंचांग के अनुसार, प्रत्येक माह आने वाली शिवरात्रि का महत्व अत्याधिक है।

11 मई: वैशाख अमावस्या

वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की अंतिम तिथि को वैशाख अमावस्या कहा जाता है। इस दिन धार्मिक कार्य, मंत्र जाप तथा पूजा-पाठ करने का अत्याधिक महत्व है।

12 मई: ईद-उल-फितर

इस दिन रमजान का त्यौहार खत्म होता है। इसे मीठी ईद भी कहा जाता है। लोग इस दिन मीठे पकवान बनाते हैं।

14 मई: परशुराम जयंती/अक्षय तृतीया

विष्णुजी के छठे अवतार और सात चिरंजीवी में एक भगवान परशुराम का जन्मोत्सव इस दिन मनाया जाता है। मान्यता है कि कलयुग के समय आज भी वे इस पृथ्वी पर मौजूद हैं।

15 मई: विनायक चतुर्थी

हिंदू पंचांग के अनुसार, प्रत्येक माह शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को विनायक चतुर्थी मनाई जाती है। मान्यता है कि यह व्रत करने से व्यक्ति को हर तरह के कष्टों से मुक्ति मिलती है।

18 मई: गंगा सप्तमी

मान्यता है कि वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की सप्तमी तिथि को गंगा स्वर्ग लोक से भगवान शिव शंकर की जटाओं में पहुंची थीं। ऐसे में इस दिन गंगा जयंती या गंगा सप्तमी मनाई जाती है।

21 मई: सीता नवमी

मान्यता है कि वैशाख माह की शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को माता सीता का प्राकट्य हुआ था। इस दिन को सीता नवमी के नाम से जाना जाता है।

22 मई: मोहिनी एकादशी

हिन्दू पंचांग के अनुसार, वैशाख माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी को मोहिनी एकादशी कहा जाता है। इस दिन का महत्व बेहद अत्याधिक है। इस दिन व्रत करने से पुण्य फल की प्राप्ति होती है।

24 मई: सोम प्रदोष व्रत

प्रत्येक माह की त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत किया जाता है। इस दिन भगवान शिव की पूजा की जाती है। इस व्रत को करने से व्यक्ति को कष्टों से मुक्ति मिलती है। साथ ही सभी मनोकामनाएं भी पूरी हो जाती हैं।

25 मई: नरसिंह जयंती 

ये विष्णु जी के चौथे अवतार हैं। प्रत्यके वर्ष वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्दशी तिथि को इनकी जयंती मनाई जाती है।

26 मई: बुद्ध पूर्णिमा, बैसाख पूर्णिमा

इसे वैशाख पूर्णिमा या बुद्ध पूर्णिमा भी कहा जाता है। इस दिन भगवान बुद्ध का जन्मोत्सव मनाया जाता है।

27 मई: नारद जयंती

नारद जयंती प्रति वर्ष ज्येष्ठ माह के कृष्ण पक्ष की द्वितीया तिथि को मनाई जाती है।

29 मई: संकष्टी चतुर्थी

हिंदू पंचांग के अनुसार प्रत्येक माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी को संकष्टी चतुर्थी मनाई जाती है। इस दिन जो व्यक्ति व्रत करता है उसके सभी कष्ट दूर हो जाते हैं।

डिसक्लेमर

‘इस लेख में निहित किसी भी जानकारी/सामग्री/गणना की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों/ज्योतिषियों/पंचांग/प्रवचनों/मान्यताओं/धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है, इसके उपयोगकर्ता इसे महज सूचना समझकर ही लें। इसके अतिरिक्त, इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी। ‘  

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *