एयर मार्शल वीआर चौधरी बने भारतीय वायुसेना के प्रमुख। आरकेएस भदौरिया की जगह ली। आज रिटायर हो गए आरकेएस भदौरिया। उन्होंने आरकेएस भदौरिया से नए वायु सेना प्रमुख के रूप में पदभार संभाला। वे चीन के साथ संकट के चरम के दौरान लद्दाख सेक्टर के प्रभारी थे।
नई दिल्ली । एयर चीफ मार्शल वीआर चौधरी भारतीय वायुसेना के नए प्रमुख बन गए हैं। उन्होंने आरकेएस भदौरिया की जगह ली है। एयर चीफ मार्शल विवेक राम चौधरी जो चीन के साथ संकट के चरम के दौरान लद्दाख सेक्टर के प्रभारी थे, उन्होंने गुरुवार को एयर चीफ मार्शल आरकेएस भदौरिया से नए वायु सेना प्रमुख के रूप में पदभार संभाला। निवर्तमान वायुसेना अध्यक्ष आरकेएस भदौरिया आज वायुसेना से रिटायर हो गए। रिटायरमेंट से पहले निवर्तमान वायुसेना चीफ ने आज दिल्ली में राष्ट्रीय युद्ध स्मारक पर श्रद्धा सुमन अर्पित किए।
आरकेएस भदौरिया 42 साल की सेवा के बाद सेवानिवृत्त हुए हैं। इस दौरान उन्होंने 36 राफेल और 83 मार्क1ए स्वदेशी तेजस जेट सहित दो मेगा लड़ाकू विमान सौदों में अहम भूमिका निभाई थी।
उनका करियर ‘पैंथर्स’ स्क्वाड के साथ MIG-21 की उड़ान के शुरू हुआ था और फिर उसी एयरबेस पर और उसी स्क्वाड्रन के साथ ही समाप्त हुआ। पूर्व एयर चीफ मार्शल आरकेएस भदौरिया ने 13 सितंबर को 23 वर्ग, हलवारा में वायु सेना प्रमुख के रूप में एक लड़ाकू विमान में अपनी अंतिम उड़ान भरी।
सितंबर 2019 में आरकेएस भदौरिया ने संभाला था पद
एयर चीफ मार्शल भदौरिया ने सितंबर 2019 में वायुसेना प्रमुख का पद संभाला था. भदौरिया को जून 1980 में भारतीय वायु सेना की लड़ाकू शाखा में शामिल किया गया और वह कई पदों पर रहे। राष्ट्रीय रक्षा अकादमी के पूर्व छात्र भदौरिया ने सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए प्रतिष्ठित ‘स्वॉर्ड ऑफ ऑनर’ पुरस्कार भी जीता। करीब चार दशक की सेवा के दौरान भदौरिया ने जगुआर स्क्वाड्रन और एक प्रमुख वायु सेना स्टेशन का नेतृत्व किया। इसके अलावा उन्होंने जीपीएस का इस्तेमाल कर जगुआर विमान से बमबारी करने का तरीका ईजाद किया। यह साल 1999 में ‘ऑपरेशन सफेद सागर’ में जगुआर विमान की बमबारी में भूमिका से खासतौर से जुड़ा है।
कौन हैं वीआर चौधरी ?
वी आर चौधरी भारतीय वायुसेना में 1982 में शामिल हुए थे और फाइटर-स्ट्रीम से ताल्लुक रखते हैं> वे मिग-29 फाइटर जेट के पायलट रह चुके हैं और पिछले 39 साल के कैरियर में कई कमान और स्टाफ नियुक्तियां कर चुके हैं। वे इससे पहले तक सह-वायुसेना प्रमुख के तौर पर तैनात थे। इससे पहले वे एयरफोर्स एकेडमी में इस्ट्रक्टर के पद पर भी अपनी सेवाएं दे चुके हैं।