कोरोना वायरस के बी.1.617 वैरिएंट ने बढ़ाई ब्रिटेन की चिंता, कई इलाकों में बढ़ रहे मामले

भारत में पहली बार पाए गए कोरोना वायरस के स्‍वरूप B.1.167 को लेकर ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने चिंता जाहिर की है। उनका कहना है कि देश के कुछ इलाकों में कोरोना संक्रमण के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं।

 

लंदन (पीटीआई)। भारत में पाए गए कोरोना वायरस का बी.1.617 वैरिएंट को लेकर कई देशों की चिंता बढ़ी हुई है। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ने भी इसको लेकर अपनी चिंता जाहिर की है। उनका कहना है कि वायरस के इस प्रकार ने उनके देश की भी चिंता बढ़ा दी है। उन्‍होंने ये भी कहा है कि ब्रिटेन इस वायरस का समाधान तलाशने में जुटा हुआ है। उनके मुताबिक ऐसा देखा जा रहा है कि ब्रिटेन के कुछ इलाकों में कोरोना संक्रमण के मरीजों की संख्‍या लगातार तेजी से बढ़ रही है।

प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने इसकी जानकारी देते हुए संसद के निचले सदन हाउस ऑफ कॉमंस में एक सवाल का जवाब देते हुए उन्‍होंने कहा कि कोरोना वायरस का बी.1.617 वैरिएंट पिछले साल पहली बार केंट काउंटी में पाए गए प्रभावी वैरिएंट से भी ज्यादा संक्रामक हो सकता है। आपको बता दें कि कोरोना वायरस के बी.1.617 वैरिएंट को पब्लिक हेल्थ इंग्लैंड (पीएचई) ने वैरिएंट ऑफ कंसर्न यानी वायरस का चिंताजनक स्वरूप करार दिया है। जॉनसन ने कहा कि इस वैरिएंट को लेकर देशवासियों और सरकार को बेहद सतर्क रहना होगा, क्योंकि इस वायरस का खतरा अभी बना हुआ है। उन्‍होंने ये भी कहा कि कोरोना वायरस का भारत में पाया गया ये वैरिएंट पहले के मुकाबले अधिक घातक है।

जॉनसन ने एक सवाल के जवाब में कहा कि सरकार विभिन्न क्षेत्रों में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को रोकने के लिए हर संभाव उपाय कर रही है। गौरतलब है कि इंग्लैंड के कुछ हिस्सों में पिछले सप्‍ताह बी.1.617 वैरिएंट के 500 से ज्यादा मामले पाए गए थे। कोरोना वायरस की वजह से ब्रिटेन में अब तक सवा लाख से ज्यादा लोगों की जान जा चुकी है और 44 लाख से ज्याद लोग संक्रमित हो चुके हैं, जबकि 42 लाख से अधिक मरीज ठीक भी हुए हैं। देश में एक्टिव मामलों की बात करें तो ये 58232 है। आपको यहां पर ये भी बता दें कि ब्रिटेन कोरोना संक्रमण के मामलों में विश्‍वस्‍तर पर सातवें नंबर पर है। ब्रिटेन में पिछले वर्ष 20 नवंबर को सबसे अधिक संख्‍या में नए मामले सामने आए थे। इसके बाद इस वर्ष 8 जनवरी को वहां पर एक ही दिन में 67928 नए मामले सामने आए थे।

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