लखनऊ में प्रापर्टी डीलरों का बड़ा कारनामा, एलडीए की ही जमीन पर डाली अवैध प्लाटिंग

लखनऊ में अवैध कब्जे के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं। लखनऊ विकास प्राधिकरण की करोड़ों की जमीन पर अवैध प्लाटिंग कर दी गई है। भूमि की आडिट के दौरान मामला पकड़ में आया तो हड़कंप मच गया।

 

लखनऊ, [ आर सी राठौर ] गोमतीनगर की लखनऊ विकास प्राधिकरण की बेशकीमती जमीनों पर प्रापर्टी डीलर की नजर है। गोमतीनगर के सबसे पाश इलाके विभूतिखंड में प्राधिकरण की ही अर्जित जमीन की प्लाटिंग हो रही है। ऐसा मामला लविप्रा के अफसरों ने शुक्रवार को भूमि की आडिट के दौरान पकड़ा। अब अपनी ही जमीन पर अवैध रूप से हो रही प्लाटिंग को ध्वस्त करने के आदेश जारी किए गए हैं।

गोमतीनगर सहित कई जगह लविप्रा अपनी भूमि की जांच करा रहा है। गोमतीनगर में करीब 56 ऐसे प्लाट मिले हैं। जहां निर्माण किसी दूसरे का है, जमीन की रजिस्ट्री दूसरे के नाम पर और उनका रिकार्ड लविप्रा के पास ही नहीं है। ऐसी जमीनों को चिन्हित किया जा रहा है। जिससे लविप्रा इस खेल तक पहुंच सके और अपनी गुमनाम हो चुकी जमीन को वापस पा सके। इसी जांच के दौरान लविप्रा को पता चला कि विभूतिखंड के प्राथमिक विद्यालय के पास करीब पांच हजार वर्ग मीटर की जमीन पर कुछ लोगों ने कब्जा कर रखा है।

 

इस जमीन का नक्शा मंगाया गया। उस पर स्टे लिखा था। जांच अर्जन अनुभाग से की गई। पता चला कि जमीन पर कोई स्टे ही नहीं है। इस जमीन का नियोजन करके इसे ई-नीलामी में शामिल करने की तैयारी है। वहीं विभूतिखंड में ही लविप्रा के प्लाट नंबर 1280 पर अवैध प्लाटिंग का खेल सामने आया। प्राधिकरण सचिव पवन कुमार गंगवार और विशेष कार्याधिकारी अमित राठौर ने इस अवैध प्लाटिंग को ध्वस्त कर उसपर कब्जा करने के आदेश दिए।

एयरपोर्ट के पास टूटेंगे आठ अवैध निर्माणः चौधरी चरण सिंह अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट की सुरक्षा के लिए खतरा बन रहे मानक से अधिक ऊंचाई वाले भवनों को तोड़ने के आदेश लखनऊ विकास प्राधिकरण के अधिकारी अमित राठौर ने जारी कर दिए। बिजनौर की तरफ से एयरपोर्ट की सीमा से सटे कई मकानों की ऊंचाई भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण के तय मानकों से ज्यादा है। जिससे विमान आपरेशन को खतरा बन रहा है। इसे लेकर एयरपोर्ट प्रशासन की ओर से लखनऊ विकास प्राधिकरण को पत्र भेजा गया था। जिस पर प्राधिकरण ने ऐसे भवनों को चिन्हित करने के आदेश दिए। करीब 40 भवन चिन्हित हुए हैं। उनमें आठ को तोड़ने के आदेश दे दिए गए।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *