सीएम योगी आदित्यनाथ बोले- शिक्षा तथा स्वास्थ्य किसी भी समाज की दो बुनियादी आवश्यकता

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कार्यक्रम में कहा कि देश तथा प्रदेश में पोषण मिशन में अगर ईमानदारी के साथ कोई कार्य कर सकता है तो प्रदेश की बहनें कर सकती हैं।

 

लखनऊ : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को लखनऊ में सात सौ आगंनबाड़ी केन्द्रों का शिलान्यास तथा लोकार्पण किया। राजधानी के लोक भवन में उन्होंने इसके साथ ही ‘सक्ष्म एवं सशक्त आंगनबाड़ी’ पुस्तिका का विमोचन, ‘सहयोग’ एवं ‘बाल पिटारा’ एप का शुभारम्भ एवं बच्चों के लिए ‘दुलार कार्यक्रम का भी शुभारम्भ किया। इस अवसर पर महिला एवं बाल कल्याण मंत्री बेबी रानी मौर्या भी मौजूद थीं।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कार्यक्रम में कहा कि देश तथा प्रदेश में पोषण मिशन में अगर ईमानदारी के साथ कोई कार्य कर सकता है तो प्रदेश की बहनें कर सकती हैं। उन्होंने कहा कि इसी कारण 60 हजार से अधिक महिला स्वयंसेवी समूहों ने सूबे में इस जिम्मेदारी को अपने ऊपर लिया है।

इतना ही नहीं प्रदेश में पोषण मिशन को सफलतापूर्वक आगे बढ़ाने का कार्य महिलाएं कर रही हैं। उन्होंने कहा कि अब यह काम और तेजी से आगे बढ़ेगा। आज ही सात सौ आंगनबाड़ी केंद्रों के शिलान्यास/लोकार्पण के साथ ही सक्षम एवं सशक्त आंगनबाड़ी पुस्तिकाओं के विमोचन का कार्यक्रम संपन्न हुआ है।

 

शिक्षा व स्वास्थ्य किसी भी समाज की दो बुनियादी आवश्यकताएं

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में जब मैं किसी जनपद में जाता हूं तो प्रयास होता है कि वहां पर स्वास्थ्य केन्द्र आंगनबाड़ी केन्द्र के साथ बेसिक शिक्षा के किसी स्कूल में जरूर जाऊं। उन्होंने कहा कि मेरा तो मानना है कि शिक्षा व स्वास्थ्य किसी भी समाज की दो बुनियादी आवश्यकताएं हैं। यह भी सत्य है कि समाज की आधारशिला भी यहीं से खड़ी होती है।

मुझे प्रसन्नता है कि विगत पांच वर्ष में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की प्रेरणा तथा उनके मार्गदर्शन में पूरे देश में पोषण माह जिस मजबूती के साथ आगे बढ़ा है, उत्तर प्रदेश ने उसमें काफी बड़ी सफलता प्राप्त की है। इसके साथ ही प्रदेश में प्राइमरी तथा बेसिक शिक्षा की प्रगति को लेकर भी काफी काम किया गया है।

jagran सभी ग्राम सभा में एक-एक कम्प्यूटर सहायक

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश की सभी 58 हजार ग्राम पंचायतों में ग्राम प्रधानों के सहयोग के लिए एक-एक पंचायत सहायक की तैनाती कम्प्यूटर सहायक के रूप में की गई है। सभी ग्राम पंचायतों में बैंक करोसपोंडेंट (बीसी) सखी की सुविधा दी जा रही है। इन सभी ने एक वर्ष में 5,500 करोड़ का लेनदेन किया है।

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