IEA ने कहा- डीजल की बढ़ी कीमतों के कारण घटेगी मांग, वैश्विक अर्थव्यवस्था पर पड़ेगा असर

IEA ने मंगलवार को अगले साल डीजल और गैस आयल की मांग में गिरावट दर्ज होने का अनुमान लगाया है। IEA ने रिपोर्ट में कहा कि डीजल की उची कीमतें महंगाई को बढ़ावा दे रही हैं जिससे पूरे विश्व में तेल की मांग पर असर पड़ रहा है। फाइल फोटो।

 

लंदन, रायटर्स। अंतरराष्ट्रीय एनर्जी एजेंसी (IEA) ने मंगलवार को अगले साल डीजल और गैस आयल की मांग में गिरावट का अनुमान लगाया है। IEA ने अपनी आयल मार्केट की मासिक रिपोर्ट में कहा है कि डीजल की ऊंची कीमतें महंगाई को बढ़ावा दें रही हैं, जिससे पूरे विश्व में तेल की मांग पर असर पड़ रहा है। साथ ही IEA की रिपोर्ट में कहा गया है कि डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी से वैश्विक अर्थव्यवस्था पर भी असर पड़ने की उम्मीद है।

40 लाख बैरल प्रति दिन तक इस साल गिर सकती है मांगIEA ने अनुमान लगाया है कि डीजल और गैस आयल की वैश्विक मांग इस साल 40 लाख बैरल प्रति दिन (BPD) तक गिर जाएगी, जो 2021 में 15 लाख BPD तक गिरी थी। बता दें कि डीजल को वैश्विक अर्थव्यवस्था की रीढ़ की हड्डी माना जाता है। डीजल का उपयोग पूरे विश्व में बिजली के कारखानों से लेकर वाहनों के ईंधन के रूप में होता है। इसलिए डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी को लेकर IEA ने तेल की मांग में गिरावट होने का अनुमान लगाया है।

रिपोर्ट में IEA ने कहा है कि रूस के कच्चे तेल और तेल उत्पादों पर यूरोपीय संघ के प्रतिबंध से बाजार में और मजबूती आने की उम्मीद है। IEA के मुताबिक यूरोपीय संघ को लगभग 1 मिलियन BPD रूसी डीजल, नेफ्था (Naphtha) और ईंधन तेल को बदलना होगा।

कोविड के कारण भी पड़ा असरIEA ने कहा है कि कोविड19 महामारी और ईंधन की मांग में गिरावट के कारण Net Refining Capacity में लगभग 1 मिलियन BPD का नुकसान हुआ है। एजेंसी ने यह भी कहा है कि फरवरी में यूक्रेन पर रूस के आक्रमण और पिछले महीने फ्रांसीसी रिफाइनरी हमलों ने बाजार को और मजबूत कर दिया है, जिससे डीजल पर प्राफिट मार्जिन 80 डालर प्रति बैरल से अधिक हो गया है।

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