वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा है कि सरकार अगले बजट में देश के विकास को सर्वोपरि रखने की कोशिश करेगी। इस बीच उन्होंने सरकार का प्लान भी बताया कि देश का अगला बजट कैसा होगा।
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क : वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शुक्रवार को इस बात का संकेत दिया कि उनका आगामी बजट कैसा होगा। उन्होंने कहा कि आने वाला बजट सार्वजनिक व्यय के दम पर विकास को गति देना जारी रखेगा। उन्होंने कहा कि यह पहले के बजट की अहम बातों का पालन करेगा। सीतारमण, अप्रैल से शुरू होने वाले वित्तीय वर्ष के लिए 1 फरवरी को अपना लगातार पांचवां बजट पेश करने वाली हैं।
वित्त मंत्री के रूप में निर्मला सीतारमण को COVID-19 महामारी से पैदा होने वाली चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा। वित्त मंत्री ने बड़े पैमाने पर सार्वजनिक व्यय के कार्यक्रम चलाए थे। वित्त मंत्री ने मांग को बढ़ावा देने के लिए वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए पूंजीगत व्यय को 35.4 प्रतिशत बढ़ाकर 7.5 लाख करोड़ रुपये कर दिया था, जबकि पिछले साल कैपेक्स 5.5 लाख करोड़ रुपये था।
वित्त मंत्री ने कहा कि पिछले अनुभव बहुत प्रेरणादायक और प्रेरक हैं। खासकर ऐसे समय में, जब हम देश के लिए अगला बजट तैयार कर रहे हैं। ऐसा बजट, जो पिछले बजटों की भावना का पालन करेगा। उन्होंने कहा कि इस बार भी हम वह खाका सेट करने जा रहे हैं, जो पहले सेट किया गया था। उन्होंने इस बजट को भारत के लिए महत्वपूर्ण बताते हुए कहा कि क्यों न हम देश को अगले 25 वर्ष आगे ले जाएं।
कई मोर्चे पर हैं चुनौतियांविपरीत वैश्विक परिस्थितियों और बढ़ती मुद्रास्फीति को काबू में रखने के लिए विश्व स्तर पर बढ़ती ब्याज दरों के कारण हाल के महीनों में जीडीपी की वृद्धि धीमी हो गई है। विकास दर को पटरी पर लाने के लिए सरकार कई मोर्चे पर काम करने की कोशिश कर रही है। आरबीआई ने 2022-23 के लिए वास्तविक जीडीपी वृद्धि 6.8 प्रतिशत, तीसरी तिमाही में 4.4 प्रतिशत और चौथी तिमाही में 4.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है। सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि 2023-24 की अप्रैल-जून अवधि के लिए 7.1 प्रतिशत और अगली तिमाही के लिए 5.9 प्रतिशत रहने का अनुमान है।
अगले वर्ष के बजट में मुद्रास्फीति के ऊंचे स्तर, मांग में वृद्धि, रोजगार सृजन और अर्थव्यवस्था को निरंतर 8 प्रतिशत से अधिक रखने जैसे मुमहत्वपूर्ण मुद्दों से निपटना होगा। यह मोदी 2.0 सरकार और सीतारमण का पांचवां बजट होगा और अप्रैल-मई 2024 में होने वाले आम चुनाव से पहले आखिरी पूर्ण बजट होगा।