फर्जी दस्तावेज के आधार पर एंबुलेंस का पंजीयन कराने के मामले में दर्ज गैंगस्टर के मुकदमे में पुलिस ने गैंग लीडर मुख्तार अंसारी सहित 13 लोगों को नामजद किया है। इस मामले में मुख्तार सहित 11 लोग जेल में हैं।
बाराबंकी, गैंगस्टर मुख्तार अंसारी के दो गुर्गों को पुलिस नहीं तलाश पा रही है। अब एसपी ने दोनों आरोपितों पर 25-25 हजार रुपये पुरस्कार की घोषणा कर दी है। यह राशि इनकी सूचना देने और गिरफ्तार कराने वालों को दी जाएगी। इस मुकदमे में मुख्तार सहित 11 लोग जेल में हैं।
गिरोह बनाकर फर्जी दस्तावेज के आधार पर एंबुलेंस का पंजीयन कराने के मामले में दर्ज गैंगस्टर के मुकदमे में पुलिस ने गैंग लीडर मुख्तार अंसारी सहित 13 लोगों को नामजद किया है। 25 मार्च को किए गए इस मुकदमे में नामजद गाजीपुर के सैदपुर बाजार थाना के मुहल्ला रोजा के मो. शाहिद पुत्र कुर्बान (जो वर्तमान में मोहम्मदाबाद थाना के मंगल बाजार पुरानी कचहरी यूसुफपुर में रहता है) और लखनऊ के वजीरगंज थाना के अली का कटरा निवासी मो. जाफरी उर्फ शाहिद अभी नहीं पकड़े जा सके हैं। पुलिस अधीक्षक अनुराग वत्स ने दोनों पर 25-25 हजार रुपये का पुरस्कार घोषित किया है। एसपी ने बताया कि पुलिस टीम गठित कर आरोपिताें की गिरफ्तारी का प्रयास किया जा रहा है।
कोतवाली नगर में कंडम हो रही मुख्तार की बहुचर्चित एंबुलेंस : मुख्तार अंसारी के एंबुलेंस प्रकरण में दो अप्रैल को एक वर्ष पूरा हो गया। इन दो वर्षों के अंतराल में मुख्तार अंसारी पर बाराबंकी की कोतवाली नगर में दो मुकदमे लिखे गए। पूरे देश में बहुचर्चित यह एंबुलेंस कोतवाली नगर परिसर में पड़ी धूल खा रही है जिसमें कभी मुख्तार अपने सशस्त्र गुर्गों के साथ पंजाब में चलता था।
पंजाब जेल में निरुद्ध के दौरान गाजीपुर का रहने वाला और मऊ से पूर्व विधायक रहा मुख्तार अंसारी पंजाब जेल में बंद था। जहां न्यायालय जाने व आने के लिए मुख्तार अंसारी ने 21 मार्च 2013 को एआरटीओ बाराबंकी में पंजीकृत मऊ के श्याम संजीवनी अस्पताल की संचालिका डा. अलका राय के नाम की एंबुलेंस प्रयोग कराया था। यह एंबुलेंस यूपी 41 एटी 7171 सबसे पहले 31 मार्च 2021 को चर्चा में आई। दो दिन बाद कोतवाली नगर में दो अप्रैल 2021 को अल्का राय पर जालसाजी का मुकदमा हुआ। विवेचना शुरू हुई तो छह अप्रैल 2021 को सीओ नवीन सिंह यह एंबुलेंस पंजाब से वापस बाराबंकी लाए और प्रकाश में आए मुख्तार सहित कुल 13 लोगों को पुलिस ने जेल की सलाखों के पीछे पहुंचाया।
मुख्तार, अफरोज खां उर्फ चुन्नू सहित जफर उर्फ चंदा के अतिरिक्त सभी आरोपित जमानत पर जेल से बाहर आ गए। एक बार फिर शिकंजा कसा गया और 25 मार्च को कोतवाली नगर में मुख्तार अंसारी को गैंग लीडर बनाते हुए सभी 12 सदस्यों पर गैंगस्टर का मुकदमा लिखा गया। इस मुकदमे में श्याम संजीवनी अस्पताल की संचालिका डा. अलका राय, शेषनाथ राय, राजनाथ यादव, सलीम, सुरेंद्र शर्मा, फिरोज कुरैशी को पुलिस ने फिर जेल भेजा, जबकि आनंद यादव और मोहम्मद सुहैब मुजाहिद ने अदालत में आत्मसमर्पण कर दिया।