लोककल्याण की कामना के साथ गोरक्षपीठाधीश्वर व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गोरखनाथ मंदिर में विधि-विधान से रुद्राभिषेक किया। रुद्राभिषेक करने के बाद उन्होंने हवन किया। सीएम इसके बाद शहर के प्रमुख मंदिरों में दर्शन किए।
गोरखपुर, महाशिवरात्रि के पर्व पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को गोरक्षपीठाधीश्वर की भूमिका में लोककल्याण की कामना के साथ भगवान भोलेनाथ का विधि-विधान से रुद्राभिषेक किया। गुरु गोरखनाथ शिवावतार हैं और ऐसे में महाशिवरात्रि पर शिवोपासना का अनुष्ठान भी नाथ परंपरा का अपरिहार्य अभिन्न अंग है।
मुख्यमंत्री पहुंचे तो लगे हर-हर महादेव, जय श्रीराम के नारे
ट्रांसपोर्ट नगर स्थित मुक्तेश्वर नाथ मंदिर में शनिवार सुबह 11:25 पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पहुंचे। उनके पहुंचते ही लाइन में लगे श्रद्धालुओं ने हर-हर महादेव और जय श्रीराम के नारे लगाने शुरू कर दिए। मुख्यमंत्री ने मुक्तेश्वर नाथ मंदिर में पांच मिनट तक पूजन अर्चन किया। उन्होंने भगवान शिव का जलाभिषेक किया। मुख्यमंत्री के आने और वापस लौटने के दौरान लोग खासकर महिलाओं ने मोबाइल फोन से दूर से सेल्फी भी ली। एसएसबी के जवानों को भी सुरक्षा व्यवस्था में लगाया गया यहां विधायक विपिन सिंह मौजूद रहे।
हर-हर महादेव के जयघोष से गूंज उठा वातावरण
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के महादेव झारखंडी मंदिर पहुंचते ही वातावरण हर – हर महादेव के जयघोष से गूंज उठा। मुख्यमंत्री के आने की सूचना पर उत्साहित हजारों की संख्या में उपस्थित श्रद्धालु हर-हर महादेव और जय श्रीराम के नारे लगाने शुरू कर दिए। मुख्यमंत्री ने भगवान भोलेनाथ महादेव को जलाभिषेक कर विधिवत पूजन अर्चन किया। इस दौरान मंदिर परिसर की सुरक्षा में बड़ी संख्या में सुरक्षा बल तैनात थे।
ड्रोन व सीसी कैमरे से हुई मंदिर की निगरानीमहाशिवरात्रि को लेकर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे। जिले में 122 स्थानों पर शिवरात्रि का मेला लगा। श्रद्धालुओं की सुरक्षा में पीएसी व पुलिस के जवान तैनात रहे। गोरखनाथ मंदिर, महादेव झारखंडी व मुक्तेश्वरनाथ मंदिर में फोर्स तैनात की गई थी, यहां ड्रोन व सीसी कैमरे से भी निगरानी की गई। शिवमंदिर व श्रद्धालुओं की सुरक्षा में दो कंपनी पीएसी, 100 दारोगा, दस महिला दरोगा, 450 सिपाही, 500 होमगार्ड की ड्यूटी लगाई गई थी। थानेदार के साथ ही चौकी प्रभारी व बीट सिपाही सुबह से ही क्षेत्र में स्थित शिव मंदिर के आसपास मुस्तैद रहे।