चीनी शोधकर्ता को चीनी सेना के साथ संबंधों की जानकारी वीजा आवेदन में नहीं देने के आरोप में उत्तरी कैलिफोर्निया की जेल में बंद किया गया था और उसे सोमवार को संघीय अदालत में पेश किया जाना था।
स्कारमेंटो, एपी। अमेरिकी अभियोजनकर्ताओं ने एक चीनी शोधकर्ता के खिलाफ अपना मुकदमा वापस ले लिया है। चीनी शोधकर्ता को चीनी सेना के साथ संबंधों की जानकारी वीजा आवेदन में नहीं देने के आरोप में उत्तरी कैलिफोर्निया की जेल में बंद किया गया था और उसे सोमवार को संघीय अदालत में पेश किया जाना था।
स्कारमेंटो की संघीय अदालत में दर्ज दस्तावेजों के अनुसार जुआन तांग (37) पर लगे फर्जी वीजा आरोपों को खारिज करने के लिए उसके वकीलों ने जज से अपील की। लेकिन ऐसा करने की वजह नहीं बताई। सुनवाई सोमवार से शुरू होनी थी। स्कारमेंटो स्थित अमेरिकी अटर्नी आफिस की टिप्पणी भेजी गई, लेकिन जवाब नहीं मिला। तब उनके वकीलों मैलकम सीगल और टाम जानसन ने कहा कि वह उम्मीद करते हैं कि डा. तांग को अपनी बेटी और पति के पास लौटने दिया जाएगा।
सैक्रामेंटो काउंटी जेल के रिकार्ड के अनुसार जुआन तांग (37) को अमेरिकी मार्शल सेवा ने गिरफ्तार किया है। न्याय मंत्रालय ने गुरुवार को तांग और अमेरिका में रह रहे तीन अन्य वैज्ञानिकों के खिलाफ आरोपों की घोषणा करते हुए कहा कि उन्होंने चीन की पीपुल्स लिब्रेशन आर्मी के सदस्य के अपने दर्जे को छिपाया। सभी पर वीजा धोखाधड़ी के आरोप लगाए गए हैं। तांग की गिरफ्तारी चारों में सबसे बाद में हुई है। इससे पहले न्याय मंत्रालय ने सैन फ्रांसिस्को में चीन के वाणिज्य दूतावास पर एक भगोड़े को शरण देने का आरोप लगाया था।
इस संबंध में जानकारी पाने के लिए महावाणिज्य दूतावास को किए गए ईमेल अथवा फेसबुक संदेश का कोई जवाब नहीं मिला। न्याय मंत्रालय ने कहा कि तांग ने कैलिफोíनया विश्वविद्यालय में काम करने की योजना के लिए पिछले साल अक्टूबर में जो वीजा आवेदन दिया था उसमें सेना के साथ अपने संबंधों के बारे में झूठ बोला था और इसके कई महीनों बाद एफबीआइ साक्षात्कार में भी इस बारे में झूठ बोला। एजेंट को तांग की तस्वीरें मिली हैं जिसमें वह सेना की वर्दी में है और चीन में लेखों की समीक्षा में सेना के साथ उसके संबंधों का पता चला है।
चीनी विद्रोहियों पर वार में नौ लोग संदिग्ध
अमेरिकी न्याय विभाग के अनुसार चीन के खुफिया अभियान ‘फाक्स हंट’ जो चीनी सरकार के खिलाफ लोगों को जबरन वापस भेजा जाएगा। इन नौ लोगों में चीनी नागरिकों और अमेरिकी जांच कर्ता भी शामिल हैं। वाशिंगटन टाइम्स के अनुसार इन पर चीन के अवैध एजेंट के तौर पर काम करने, अवैध तरीके से विद्रोहियों का पीछा करने और बीजिंग शासन की आलोचना करने जैसे आरोप हैं।